नीमच :-बेंगलुरु की स्प्रिट एयर कंपनी जल्द ही भोपाल से नीमच, जैसे शहरों के लिए फ्लाइट्स शुरू करने जा रही है। यह सेवा फरवरी 2025 से शुरू होने की संभावना है। यह पहली बार होगा जब भोपाल से नीमच जैसे इन छोटे शहरों के लिए कोई प्राइवेट एयरलाइन कंपनी उड़ान सेवाएं देगी। विधायक दिलीपसिंह परिहार के लगातार प्रयासों, विधानसभा में प्रश्न,निरंतर पत्राचार एवं मुख्यमंत्री से मांग पर नीमच को भोपाल से एयर कनेक्टिविटी मिला। नीमच से भोपाल के लिए फ्लाइट्स का प्रति सप्ताह संचालन केन्द्र सरकार की रीजनल कनेक्टिविटी स्कीम (आरसीएस) उडान 5.2 के तहत किया जाएगा। ज्ञातव्य है कि विधायक दिलीपसिंह परिहार लगातार प्रयासरत थे कि केन्द्रीय रिजर्व पुलिस फोर्स की जन्मस्थली और अफीम एवं क्षारोद कारखाना के लिए देश में अपनी पहचान रखने वाले नीमच को बडे शहरों से वायुसेवा से जोडा जाए। इस बाबत् पूर्व में तत्कालीन केन्द्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को पत्र लिखकर नीमच को वायुसेवा से जोडने की पुरजोर मांग विधायक परिहार ने की थी। नीमच को मिली बडी सौगात से मालवा और मेवाड के क्षेत्रवासियों को को भी इसका लाभ मिल सकेगा। विधायक दिलीपसिंह परिहार ने नीमच को मिली बड़ी सौगात के लिए नीमच सहित समस्त क्षेत्र के नागरिकों को बधाई देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय उड्डयन मंत्री राममोहन नायडू, मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव तथा पूर्व नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया का आभार प्रकट किया है। श्री परिहार ने कहा कि यात्रियों को सहूलियत होगी वहीं पर्यटन को भी बढावा मिलेगा।
ये विमान यूज करेगी कंपनी
केंद्र सरकार की क्षेत्रीय संपर्क योजना (आरसीएस) उड़ान-5.2 के तहत इन उड़ानों का संचालन होगा। स्प्रिट एयर के सीईओ कैप्टन सुबोध कुमार वर्मा ने बताया कि हर हफ्ते इन जगहों के लिए 8-8 फ्लाइट्स चलेंगी। कंपनी इन उड़ानों के लिए 8 सीटर वाले मल्टी इंजन टर्बोप्रोप एयरक्राफ्ट का इस्तेमाल करेगी। इनमें दो क्रू मेंबर्स भी होंगे।
छोटे शहरों को देश के बाकी हिस्सों से जोड़ने में मिलेगी मदद
यह नई हवाई सेवा मध्य प्रदेश के छोटे शहरों को देश के बाकी हिस्सों से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। इससे पर्यटन और व्यापार को बढ़ावा मिलेगा और स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी। स्प्रिट एयर की इस पहल से उन यात्रियों को ख़ासा फायदा होगा जो समय बचाना चाहते हैं और आरामदायक यात्रा करना चाहते हैं। यह देखना दिलचस्प होगा कि आने वाले समय में दूसरे शहरों को भी इस योजना में कैसे शामिल किया जाता है और इसका क्या असर होता है।